
उत्तरकाशी जिले के धराली क्षेत्र में बादल फटने से उत्पन्न आपदा को लेकर स्वास्थ्य विभाग पूर्णतः अलर्ट मोड में है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत किया गया है,ताकि किसी भी आपात स्थिति में प्रभावित लोगों को बेहतर इलाज समय पर मिल सके।
- मानसिक स्वास्थ्य पर भी फोकस,03 मनोचिकित्सक धराली भेजे गए।

इस संबंध में स्वास्थ्य सचिव डॉ.आर.राजेश कुमार ने बताया कि देहरादून,ऋषिकेश और अन्य प्रमुख चिकित्सा संस्थानों में बेड आरक्षित कर दिए गए हैं,ताकि आपदाग्रस्त क्षेत्र से लाए गए घायलों को तत्काल उपचार मिल सके।
आरक्षित चिकित्सा व्यवस्था इस प्रकार है:-
दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल,देहरादून
150 जनरल बेड
50 ICU बेड
कोरोनेशन जिला चिकित्सालय,देहरादून
80 जनरल बेड
20 ICU बेड
एम्स,ऋषिकेश
50 जनरल बेड
20 ICU बेड
इन अस्पतालों में डॉक्टरों,नर्सिंग स्टाफ,पैरामेडिकल और दवा आपूर्ति की व्यवस्था भी पूरी कर ली गई है।
मानसिक स्वास्थ्य पर भी फोकस,मनोचिकित्सक भेजे गए
स्वास्थ्य सचिव डॉ.आर.राजेश कुमार ने बताया कि आपदा से प्रभावित लोगों में मानसिक तनाव और अवसाद की स्थिति पैदा होना स्वाभाविक है। इसे ध्यान में रखते हुए सरकार ने विशेष तौर पर तीन मनोचिकित्सकों को धराली क्षेत्र में तैनात किया है,ताकि ज़रूरतमंदों को तत्काल काउंसलिंग और मनोवैज्ञानिक सहायता मिल सके।उन्होंने बताया कि इन डॉक्टरों की टीम स्थानीय प्रशासन के साथ समन्वय में काम करेगी और राहत शिविरों में जाकर लोगों से संवाद भी करेगी।
स्वास्थ्य विभाग पूर्ण सतर्कता में
स्वास्थ्य सचिव ने स्पष्ट किया कि सभी जिलों के मुख्य चिकित्साधिकारी (CMO)और आपदा प्रतिक्रिया टीमें अलर्ट पर हैं। 108 एम्बुलेंस सेवा को भी चौबीसों घंटे एक्टिव मोड पर रखा गया है। स्वास्थ्य सचिव डॉ.आर.राजेश कुमार ने कहा यह एक संवेदनशील समय है। किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। मुख्यमंत्री जी के स्पष्ट निर्देश हैं कि एक भी घायल या जरूरतमंद व्यक्ति इलाज से वंचित न रह जाए। स्वास्थ्य विभाग हर स्थिति के लिए पूरी तरह तैयार है।