हरिद्वार कुंभ में मेष संक्रांति,बैसाखी के मुख्य शाही स्नान में लाखों ने लगाई आस्था की डुबकी

0
1338

मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने कहा कि हरिद्वार कुंभ में मेष संक्रांति के अवसर पर तीसरे शाही स्नान का आयोजन सफलतापूर्वक संपन्न हुआ है। मुख्यमंत्री ने कुंभ के सुरक्षित और सफल आयोजन के लिए साधु संतों, श्रद्धालुओं और व्यवस्था में जुटे  सुरक्षा बल के जवानों, पुलिसकर्मियों, सफाईकर्मियों, स्वास्थ्यकर्मियों और मीडियाकर्मियों और मेला प्रशासन का आभार व्यक्त किया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि शाही स्नान के लिए सुबह से शाम तक  संतों और श्रद्धालुओं ने गंगा नदी में स्नान कर पुण्य लाभ अर्जित किया। श्रद्धालुओं और संतों को कुंभ के दौरान कोई असुविधा न हो, इसके मद्देनजर राज्य सरकार द्वारा कड़े इंतजाम किए गए हैं। भारत सरकार द्वारा निर्धारित की गई कोरोना की गाइड लाइन का अनुपालन करते हुए राज्य सरकार ने तीनों शाही स्नान सफलतापूर्वक संपन्न करवाए हैं। संपूर्ण कुंभ के दौरान साधु-संतों के रहने और उनको अन्य सुविधाएं प्रदान करने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है। साधु-संत सरकार द्वारा की गई व्यवस्थाओं से संतुष्ट और प्रसन्न हैं। 

मेले में कोविड को लेकर भी पुख्ता इंतजाम किए गए है। प्राप्त गाइडलाइन का पूरा पालन किया गया। किसी भी संत या श्रद्धालु के आंशिक रूप से बीमार होने पर उनके टेस्ट और उपचार की भी राज्य सरकार द्वारा उचित व्यवस्था की गई है। मेलाधिकारी दीपक रावत एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक,महाकुम्भ मेला जनमेजय खण्डूरी ने बुधवार की सुबह मेष संक्रान्ति कुम्भ शाही स्नान 14 अप्रैल को हरकीपैड़ी ब्रह्मकुण्ड पहुंच कर महाकुम्भ के सकुशल सम्पन्न होने के लिये मॉं गंगा व अन्य देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना की।

मेलाधिकारी दीपक रावत सुबह सात बजे से पहले ही मेला नियंत्रण भवन(सी0सी0आर0)अपने कार्यालय में पहुंच चुके थे। कार्यालय पहुंचकर उन्होंने अधिकारियों को महाकुम्भ के सम्बन्ध में कई दिशा-निर्देश दिये। उसके पश्चात वे शाही स्नान रूट का निरीक्षण करते हुये हरकीपैड़ी ब्रह्मकुण्ड पहुंचे, जहां उन्होंने महाकुम्भ के सकुशल सम्पन्न होने के लिये माॅ गंगा व अन्य देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना की। पूजा-अर्चना के समय श्रीगंगा महासभा के अध्यक्ष प्रदीप झा, अपर मेलाधिकारी डाॅ0 ललित नारायण मिश्र, हरवीर सिंह, सेक्टर मजिस्ट्रेट योगेश मेहरा, गंगा सभा के अन्य पदाधिकारी सहित अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे।

पूजा-अर्चना करने के पश्चात मेलाधिकारी दीपक रावत हरकीपैड़ी स्थित पुल नम्बर-1 पर पहुंचे, जहां पर उन्होंने आठ बजकर 56 मिनट पर शाही स्नान के लिये आ रहे सर्वप्रथम निरंजन पीठाधीश्वर आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी श्री कैलाशानन्द गिरीजी महाराज, अखाड़े के सचिव और मनसादेवी ट्रस्ट के सचिव श्रीमहंन्त रवीन्द्र पुरी जी महाराज, आनन्द अखाड़े के आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी श्री बालकानन्द गिरिजी महाराज सहित अन्य सन्तों का स्वागत पुष्प वर्षा व पुष्प माला पहनाकर किया। इसके पश्चात सन्तों के हरकीपैड़ी ब्रह्मकुण्ड पहुंचने पर पूजा-अर्चना एवं विधि-विधान से शाही स्नान का शुभारम्भ हो गया।

स्वागत के समय वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक महाकुम्भ मेला जनमेजय खण्डूरी,अपर मेलाधिकारी डाॅ0 ललित नारायण मिश्र,हरवीर सिंह सहित अन्य अधिकारीगण भी मौजूद थे। मेलाधिकारी हरकी पैड़ी से ही जहां पर जैसी आवश्यकता हो रही थी, अधिकारियों को निर्देश भी देते जा रहे थे। शाही स्नान चल ही रहा था कि थोड़ी देर बाद मेलाधिकारी दीपक रावत व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक जन्मेजय खण्डूरी सन्त-महात्माओं को अगले आने वाले अखाड़ों का हवाला देते हुये जल्दी-जल्दी स्नान करने के लिये निवेदन करने लगे। जैसे-जैसे घाट खाली होता जा रहा था, वैसे-वैसे घाट की सफाई का क्रम भी चलता रहा। वे स्वयं श्रीगंगा सभा के स्वयं सेवक व अन्य को घाट की सफाई के लिये मार्ग-दर्शन दे रहे थे। देखते-देखते पूरा घाट पांच मिनट के अन्दर दु्रतगति से साफ हो गया।

मेलाधिकारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक इसके बाद हरकी पैड़ी स्थित पुल नम्बर-1 पर पहुंचे, जहां उन्होंने पुल पर चलकर देखा, पुल पर टिन की चादरें लगी होने की वजह से गरम हो रही थीं। उन्होंने तुरन्त पूरे पुल पर पानी का छिड़काव करवाया। इतने में श्री पंचदशनाम जूना अखाड़ा, श्री अग्नि और आह्वान आखाड़ा के सन्त-महात्मा शाही स्नान के लिये पहुंच गये। इसके बाद क्रम से श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाण, तीनों बैरागी अखाड़े पहुंचे तथा शाही स्नान व स्वागत का क्रम चलता रहा। इसके बाद मेलाधिकारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक हरकीपैडी से पैदल चलते हुये हाईवे पर शाही स्नान रूट का निरीक्षण करने पहुंचे, वहां पहुंचकर उन्होंने साधु-सन्तों से निवेदनपूर्वक हरकीपैड़ी की ओर जल्दी-जल्दी चलने का विनम्र निवेदन किया ताकि समय का शिडयूल सही रहे। यहां से मेलाधिकारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक मेला नियंत्रण भवन(सी0सी0आर0) पहंुंचे, जहां उन्होंने दूरदर्शन के माध्यम से सीधे प्रसारित हो रहे शाही स्नान के कार्यक्रम में लाइव प्रतिभाग करते हुये महाकुम्भ व आज के स्नान के सम्बन्ध जानकारी दी।

मेलाधिकारी ने लाइव प्रसारण के दौरान कहा कि हमें कहीं पर भी अगर कमी नजर आई, तो हमने उसे तुरन्त दूर किया है। हमने टाइम मैंनेजमेंट का पूरा ध्यान रखा। महाकुम्भ मेले की सुविधाओं का जिक्र करते उन्होंने कहा कि 150 बेड का हाॅस्टिपल के अलावा और कई हाॅस्पिटल श्रद्धालुओं की सुविधा के लिये बनाये गये हैं। नमामि गंगे का जिक्र करते हुये उन्होंने कहा कि नमामि गंगे के तहत बहुत अच्छा काम हुआ है। गंगा में शामिल होने वाले सारे नाले टैप कर दिये गये हैं, जिसकी वजह से श्रद्धालुओं को स्वच्छ व निर्मल गंगा जल मिल रहा है। उन्होंने श्रद्धालुओं से अनुरोध किया कि अगर वे समय-समय पर जारी एस0ओ0पी0 का पालन करेंगे तो हमें भी सुविधा होगी।

दीपक रावत ने कहा कि हरिद्वार मेला क्षेत्र में अस्थाई कार्यों के अलावा कई स्थाई कार्य भी हुये हैं। उन्होंने बताया कि आठ पक्के पुल बने हैं, हरिद्वार व ़ऋषिकेश में आस्था पथ का निर्माण हुआ है। चालीस किलोमीटर डबल लेन कांवड़ मार्ग बना है। इसके अलावा हरिद्वार में केबल अण्डर ग्राउण्ड की गयी हैं। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक महाकुम्भ जन्मेजय खण्डूरी ने सजीव प्रसारण के समय बताया कि हमारे द्वारा खोया-पाया एप बनाया है, जिसके माध्यम से श्रद्धालुओं को काफी सुविधा हो रही है। तकनीक के अलावा हमने पूरे मेला क्षेत्र में कई खोया-पाया केन्द्र बनाये हैं। कई लोगों को हम मिला चुके हैं। हम जो एलाउन्स करते हैं, वह बहादराबाद से यहां तक सुनाई देता है।

इसके पश्चात मेलाधिकारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक पुनः हरकीपैड़ी पहुंचे जहां उन्होंने श्री पंचायती नया उदासीन अखाड़ा निर्वाण तथा श्रीपंचायती निर्भल अखाड़ा के साधु-सन्तों का स्वागत किया। इस तरह मेलाधिकारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक कुम्भ मेला शाही स्नान सम्पन्न कराने के लिये सुबह से रात्रि तक सक्रिय रहे। उन्होंने मेला प्रशासन, पुलिस प्रशासन तथा श्री गंगा सभा के पदाधिकारियों, स्वयं सेवकों का  स्नान पर्वों में हर स्तर पर सहयोग देने के लिये धन्यवाद ज्ञापित किया।